बोकारो/झारखण्ड : तेनुघाट व्यवहार न्यायालय के जिला जज द्वितीय सूर्य मणि त्रिपाठी ने दहेज हत्या के गंभीर मामले में तीन दोषियों को दोषी करार देते हुए 10 साल के सश्रम कारावास की सजा सुनाई. दोषियों में आकाश कुमार वर्मा, दामोदर प्रसाद और बिजली देवी उर्फ आरती देवी शामिल हैं. मामला गिरिडीह थाना अंतर्गत सिंदरिया निवासी बासुकीनाथ वर्मा की बेटी पिंकी कुमारी की दहेज के लिए हुई हत्या से जुड़ा है.बासुकीनाथ वर्मा ने अपने बयान में बताया कि उनकी बेटी की शादी चंद्रपुरा थाना क्षेत्र के नर्रा निवासी आकाश कुमार वर्मा के साथ 17 दिसंबर 2016 को हुई थी. शादी के कुछ महीनों बाद ही आकाश ने पोल्ट्री फार्म खोलने के लिए 1.5 लाख रुपये की मांग की, जिसके बाद वर्मा ने 25,000 रुपये दिए इसके बाद भी बार-बार पैसों की मांग जारी रही.पिंकी कुमारी ने अपनी मां को बताया था कि उसका पति आकाश,भैसुर दामोदर महतो और गोतनी बिजली देवी उसे दहेज के लिए प्रताड़ित करते थे.पैसे मिलने पर कुछ दिनों तक ठीक व्यवहार करते और फिर से प्रताड़ित करना शुरू कर देते थे.31 दिसंबर 2018 को पिंकी की संदिग्ध परिस्थितियों में हत्या कर दी गई.इस संबंध में चंद्रपुरा थाना में मामला दर्ज किया गया था.मामला तेनुघाट न्यायालय में स्थानांतरित हुआ, जहां सभी गवाहों और सबूतों के आधार पर न्यायाधीश सूर्य मणि त्रिपाठी ने तीनों आरोपियों को दोषी करार देते हुए 10 साल सश्रम कारावास की सजा सुनाई.
अभियोजन पक्ष की ओर से अपर लोक अभियोजक विजय कुमार साहू ने मामले में बहस की
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